Teacher’s Day 2022: जानें क्यों गुरु का दर्जा ऊपर वाले से भी बड़ा है

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देश भर में आज Teacher’s Day मनाया जा रहा है। Teacher’s Day यानी शिक्षकों का सम्मान दिवस। ‘आचार्य देवो भवः’ का बोध वाक्य सुनकर हम बड़े हुए हैं। Teacher’s Day पूरे देश में प्रतिवर्ष 5 सितंबर को मनाया जाता है। यह हमारे देश के द्वितीय राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म दिवस है। राधाकृष्णन ने चालीस वर्षों तक शिक्षण कार्य किया था।

डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन महान शिक्षक तो थे ही, साथ में Teacher और छात्रों के उत्तम समन्वयक भी थे। उन्होंने अपने जन्म दिवस को Teacher’s Day के रूप में मनाने की इच्छा व्यक्त की थी, जिसका उद्देश्य Teachers को सम्मान दिलाना था।

डॉ. राधाकृष्णन शिक्षा और शिक्षक जगत के मसीहा थे। उनके विचार थे कि यदि देश का प्रत्येक Teacher अपने धर्म का पालन करे तो पूरा देश अशिक्षा और अज्ञान से मुक्त हो जाएगा। Teacher अर्थात गुरु का अर्थ है ‘अंधकार दूर करने वाला’। ‘गु’ का अर्थ है ‘अंधकार’ और ‘रु’ का अर्थ है ‘मिटाने वाला’। आदर्श Teacher अपने शिष्यों के हृदय में अच्छे संस्कारों और ज्ञान का सृजन करता है। वही कुप्रवृत्तियों का नाश करता है, इसलिए वह भगवान के समान पूजनीय और वंदनीय है। संत कबीर मानते हैं कि गुरु का दर्जा ऊपर वाले से भी बड़ा है, क्योंकि गुरु के कारण ही परमात्मा को पाया जा सकता है। हमारे देश में गुरु-शिष्य परंपरा के अनेकानेक उदाहरण मिलते हैं।

वर्तमान में गुरु-शिष्य परंपरा का स्वरूप काफी बदला है। इंटरनेट का जमाना आ गया है। ऑनलाइन पढ़ाई भी विद्यार्थियों को प्रदान की जा रही है और ई-लर्निंग में इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से विद्यार्थियों को पढ़ाया जाता है। इसका सबसे बड़ा लाभ सैकड़ों किलोमीटर दूर बैठे विद्यार्थियों को हो रहा है। वे ऑनलाइन गुरु से मिल सकते हैं और ई-टीचिंग कर सकते हैं। ई-शिक्षक और ई-टीचिंग से सबसे बड़ा लाभ यह है कि हम किसी भी विषय को बार-बार पढ़कर समझ सकते हैं, याद कर सकते हैं।

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